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      लाख की चूड़ियाँ

      प्रश्न / उत्तर
      प्रश्न-20   किसी भी स्त्री के हाथों में काँच की चूड़ियों को देखकर बदलू की क्या प्रतिक्रिया होती थी?

      उत्तर - यदि किसी भी स्त्री के हाथों में उसे काँच की चूड़ियाँ दिख जातीं तो वह अंदर - ही - अंदर कुढ़ उठता और कभी कभी तो दो - चार बातें भी सुना देता।

       

      प्रश्न-21   लेखक को अपने मामा के गाँव जाने का सबसे बड़ा चाव क्या था?

      उत्तर -  लेखक को अपने मामा के गाँव जाने का सबसे बड़ा चाव यही था कि जब वह वहाँ से लौटता था तो उसके पास ढेर सारी गोलियाँ होतीं, रंग - बिरंगी गोलियाँ जो किसी भी बच्चे का मन मोह लें।

       

      प्रश्न-22   विवाह के अवसर पर बदलू को क्या - क्या मिलता था?   

      उत्तर - विवाह में उसके बनाए गए सुहाग के जोड़े का मूल्य इतना बढ़ जाता था कि उसके लिए उसकी घरवाली को सारे वस्त्र मिलते, ढेरों अनाज मिलता, उसको अपने लिए पगड़ी मिलती और रूपये मिलते। 



      प्रश्न-23   लेखक की निगाह एक क्षण के लिए रज्जो के हाथों पर क्यों ठिठक गई?  

      उत्तर - लेखक की निगाह एक क्षण के लिए रज्जो के हाथों पर इसलिए ठिठक गई क्योंकि उसके हाथों में लेखक ने लाख की चूड़ियाँ देखी जो की उसकी गोरी गोरी कलाईयों पर बहुत फब रही थीं।

       

      प्रश्न-24   किस घटना के बाद लेखक को सहसा बदलू का ध्यान हो आया?   

      उत्तर - बात यह हुई की लेखक के मामा की छोटी लड़की आँगन में फिसल कर गिर पड़ी और उसके हाथ की काँच की चूड़ी टूटकर उसकी कलाई में घुस गई और उससे खून बहने लगा। तभी सहसा लेखक को बदलू का ध्यान हो आया।

       

      प्रश्न-25   बदलू की बनाई गई चूड़ियों की बहुत खपत क्यों थी?

      उत्तर - बदलू की बनाई गई चूड़ियों की बहुत खपत इसलिए थी क्योंकि वह बहुत ही सुंदर चूड़ियाँ बनाता था। उस गाँव में तो सभी स्त्रियाँ उसकी बनाई हुई चूड़ियाँ पहनती थीं आस - पास के गाँवों के लोग भी उससे चूड़ियाँ ले जाते थे।

       

      प्रश्न-26   बदलू के मन में ऐसी कौन-सी व्यथा थी, जो लेखक से छिपी न रह सकी?

      उत्तर -  बदलू लाख की चूड़ियाँ बेचा करता था परन्तु जैसे-जैसे काँच की चूडियों का प्रचलन बढ़ता गया उसका व्यवसाय ठप पड़ने लगा। अपने व्यवसाय की यह दुर्दशा बदलू को मन ही मन कचौटती थी। बदलू के मन की यह व्यथा लेखक से छिपी रह सकी।

       

      प्रश्न-27   वस्तु-विनिमय क्या है? विनिमय की प्रचलित पद्धति क्या है?

      उत्तर -  जब किसी एक वस्तु या सेवा के बदले दूसरी वस्तु या सेवा का लेन-देन होता है तो इसे वस्तु विनिमय कहते हैं। जैसे एक गाय लेकर १० बकरियाँ देना। इस पद्धति में रूपये-पैसे का इस्तेमाल नहीं किया जाता है। उदाहरण के तौर पर पाठ में लोग अनाज के बदले बदलू से चूड़ियाँ ले जाया करते थे। किन्तु अब मुद्रा के चलन के कारण वर्तमान परिवेश में वस्तु का लेन-देन मुद्रा के द्वारा होता है। विनिमय की प्रचलित पद्धति पैसा है।



      प्रश्न-28   ‘मशीनी युग’ ने कितने हाथ काट दिए हैं।’ – इस पंक्ति में लेखक ने किस व्यथा की ओर संकेत किया है?

      उत्तर -  'मशीनी युग ने कितने हाथ काट दिए हैं'- इस पंक्ति में लेखक ने मशीनों के प्रयोग के कारण समाज में बढ़ती बेरोज़गारी और बेकारी की समस्या की ओर संकेत किया है। मशीनीकरण के कारण हस्तशिल्प पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ा। कारीगरों के पैतृक व्यवसाय बंद हो गए। लोग बेरोज़गार हो गए। मशीनों के आगमन से कारीगरों की रोज़ी रोटी का साधन ख़त्म हो गया।

       

      प्रश्न-29   बचपन में लेखक अपने मामा के गाँव चाव से क्यों जाता था और बदलू को ‘बदलू मामा’ न कहकर ‘बदलू काका’ क्यों कहता था?

      उत्तर -  बचपन में लेखक अपने मामा के गाँव चाव से इसलिए जाता था क्योंकि लेखक के मामा के गाँव में बदलू मनिहार रहता था। वह बहुत ही सुंदर चूड़ियाँ बनता था। लेखक को बदलू से अत्यधिक लगाव था। वह लेखक को ढेर सारी लाख की रंग-बिरंगी गोलियाँ बनाकर देता था।

      गाँव के सभी बच्चे बदलू कोबदलू काकाकहकर बुलाते थे इसलिए लेखक भी उसेबदलू मामा कहकरबदलू काकाकहता था।

       

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